राजस्थान के संरक्षित क्षेत्र

राजस्थान के संरक्षित क्षेत्र

मनुष्यों द्वारा मुख्यतः खेती और वनों के लिए भूमि उपयोग से भूमि का परिदृश्य बदल रहा है। आज, समस्त भूमि का एक तिहाई हिस्सा अपना मूल स्वरूप या तो खो चुका है या खोना जारी है, जिसके परिणामस्वरूप जैव विविधता को नुकसान पहुंचा है और कार्बन भंडारण जैसी आवश्यक पारिस्थितिकी तंत्र सेवाओं को भी क्षति पहुंची है।

संरक्षित क्षेत्र इस समस्या का एक समाधान हो सकते हैं। यदि प्रभावी ढंग से प्रबंधित और निष्पक्ष रूप से शासित किया जाए, तो ऐसे क्षेत्र प्रकृति और सांस्कृतिक संसाधनों की रक्षा कर सकते हैं, स्थायी आजीविका प्रदान कर सकते हैं और इस प्रकार सतत विकास का समर्थन कर सकते हैं।

संरक्षित क्षेत्र एक स्पष्ट रूप से परिभाषित भौगोलिक स्थान है, जिसे पारिस्थितिकी तंत्र सेवाओं और सांस्कृतिक मूल्यों के साथ प्रकृति के संरक्षण हेतु कानूनी या अन्य प्रभावी माध्यमों से प्रबंधित किया जाता है। ऐसे क्षेत्रों में मानव दखल कम से कम एवं प्राकृतिक संसाधनों का दोहन सीमित या नियंत्रित होता है।

संरक्षित क्षेत्रों की व्यापक रूप से स्वीकृत परिभाषा इंटरनेशनल यूनियन फॉर कंजर्वेशन ऑफ नेचर (IUCN) द्वारा संरक्षित क्षेत्रों के वर्गीकरण दिशानिर्देशों में प्रदान की गई है। जिसके अनुसार “संरक्षित क्षेत्र कानूनी या अन्य प्रभावी साधनों के माध्यम से मान्यता प्राप्त एक स्पष्ट रूप से परिभाषित भौगोलिक स्थान होता है जो प्रकृति के दीर्घकालिक संरक्षण के साथ पारिस्थितिक तंत्र सेवाओं और सांस्कृतिक मूल्यों को संरक्षित करने के लिए समर्पित और प्रबंधित है”

सुरक्षा के अलग-अलग स्तर, देश के कानूनों या अंतर्राष्ट्रीय संगठनों के नियमों के आधार पर संरक्षित क्षेत्र कई प्रकार के होते हैं।

भारत के संरक्षित क्षेत्रों में वन्यजीव अभयारण्य, राष्ट्रीय उपवन, कंजर्वेशन / कम्यूनिटी रिजर्व और टाइगर रिजर्व शामिल हैं। आरक्षित वन इसमें शामिल नहीं हैं।

वन्यजीव (संरक्षण) अधिनियम, 1972 की धारा 2 (24A) में संरक्षित क्षेत्रों (PA) को परिभाषित किया गया है। धारा के अनुसार “संरक्षित क्षेत्र” का अर्थ है राष्ट्रीय उपवन, अभयारण्य, संरक्षण / सामुदायिक अभयारण्य। इन्हें “संरक्षित क्षेत्र” नामक अध्याय IV के तहत अधिसूचित किया गया है।

टाइगर रिजर्व को “राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण” (NTCA) नामक अध्याय IV B के तहत अधिसूचित किया गया है।

राष्ट्रीय उद्यानों और वन्यजीव अभयारण्यों के क्षेत्रों को शामिल करके टाइगर रिज़र्व का गठन किया जाता है। यह धारा 38 V (4) (i) द्वारा अनिवार्य है। चूंकि, टाइगर रिजर्व के सभी अधिसूचित कोर या क्रिटिकल टाइगर हैबिटेट या तो अभयारण्य हैं या बाघों की आबादी वाले राष्ट्रीय उपवन हैं इसलिए इन्हें भी PA माना जाता है। यहाँ आपको बात दें कि धारा 38 V (4) (ii) के अनुसार टाइगर रिजर्व में अधिसूचित बफ़र या परिधीय क्षेत्रों को संरक्षण की कमतर आवश्यकता होती है इसलिए इन्हें PA कि श्रेणी से बाहर रखा गया है। इनमें पारिस्थितिक रूप से संवेदनशील क्षेत्र (ESZ) भी शामिल हैं जो PA को घेरते हैं।

राजस्थान के संरक्षित क्षेत्रों को दर्शाता मानचित्र (सौ. प्रवीण )

वन्यजीव अभयारण्य

राज्य सरकार अधिसूचना जारी कर किसी आरक्षित वन में शामिल किसी क्षेत्र से अलग किसी क्षेत्र या राज्यक्षेत्रीय जल खंड को अभयारण्य घोषित कर सकती है यदि वह समझती है कि ऐसा क्षेत्र वन्य जीव या उसके पर्यावरण के संरक्षण, संवर्धन या विकास के प्रयोजन के लिए पर्याप्त रूप से पारिस्थितिक, प्राणी-जात, वनस्पति-जात, भू-आकृति विज्ञान-जात, प्रकृति या प्राणी विज्ञान-जात महत्तव का है।  अधिसूचना में यथासंभव निकटतम रूप से ऐसे क्षेत्र की स्थिति और सीमाएँ निर्धारित की जाएंगी।

फुलवारी की नाल अभयारण्य में मौजूद बरगद के जंगल (फ़ोटो: प्रवीण)

राष्ट्रीय उपवन

जब कभी राज्य सरकार को यह प्रतीत होता है कि कोई क्षेत्र जो किसी अभयारण्य के भीतर हो या नहीं, अपने पारिस्थितिक, प्राणी-जात, वनस्पति-जात, भू-आकृति विज्ञान जात या प्राणी विज्ञान-जात महत्तव के कारण उसमें वन्य जीवों के और उसके पर्यावरण के संरक्षण, संवर्धन या विकास के प्रयोजन के लिए राष्ट्रीय उपवन के रूप में गठित किया जाना आवश्यक है, तो वह अधिसूचना द्वारा ऐसे क्षेत्र को राष्ट्रीय उपवन के रूप में गठित कर सकती है। राष्ट्रीय उपवन के अंदर किसी भी मानवीय गतिविधि की अनुमति नहीं होती सिवाय राज्य के मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक द्वारा अध्याय 4 में दी गई शर्तों के तहत स्वीकृत गतिविधियों के।

आमतौर पर लोग यहाँ तक की वन विभाग भी राष्ट्रीय उपवन को राष्ट्रीय उद्यान कहकर संबोधित करते हैं, परंतु वन्यजीव (संरक्षण) अधिनियम के अनुसार इस वर्ग के क्षेत्रों को राष्ट्रीय उपवन कहना उचित होगा। 

कंजर्वेशन / कम्यूनिटी रिजर्व

संरक्षित क्षेत्रों को चिह्नित करने वाले शब्द हैं जो आम तौर पर स्थापित राष्ट्रीय उद्यानों, वन्यजीव अभयारण्यों और आरक्षित और संरक्षित जंगलों के बीच बफर जोन के रूप में कार्य करते हैं। ऐसे क्षेत्र यदि निर्जन और पूरी तरह से भारत सरकार के स्वामित्व में हों, लेकिन समुदायों और सामुदायिक क्षेत्रों द्वारा निर्वाह के लिए उपयोग किये जाते हों या भूमि के छोटे हिस्से का निजी स्वामित्व होने कि स्थिति में संरक्षण क्षेत्रों के रूप में नामित किया जा सकता है।

संरक्षित क्षेत्रों में इन श्रेणियों  को पहली बार 2002 के वन्यजीव (संरक्षण) संशोधन अधिनियम में पेश किया गया था। भूमि के निजी स्वामित्व और भूमि उपयोग के कारण मौजूदा या प्रस्तावित संरक्षित क्षेत्रों में कम सुरक्षा के कारण इन श्रेणियों को जोड़ा गया था।

जोड़ बीड गधवाला कंजर्वेशन रिजर्व, बीकानेर (फोटो: डॉ. दाऊ लाल बोहरा)

राजस्थान में संरक्षित क्षेत्रों कि स्थिति:

राजस्थान के संरक्षित क्षेत्रों के बारे में यहाँ के लोगों को कोई स्पष्ट जानकारी नहीं मालूम पड़ती। अक्सर यहाँ लोगों द्वारा अलग-अलग जानकारियाँ उपलब्ध कराई जाती है। यहाँ तक कि भिन्न सरकारी संस्थाओं द्वारा भी अलग – अलग जानकारी उपलब्ध कराई जाती है। WII-ENVIS के वेब पोर्टल के अनुसार राजस्थान में 4 राष्ट्रीय उपवन और 25 वन्यजीव अभयारण्य हैं। राजस्थान सरकार के एनवायरनमेंट पोर्टल के अनुसार यहाँ 3 राष्ट्रीय उपवन और 26 अभयारण्य हैं।

वन विभाग की वेबसाईट पर उपलब्ध जानकारी के अनुसार राजस्थान में तीन राष्ट्रीय उपवन, 26 वन्यजीव अभयारण्य, 21 कंजर्वेशन रिजर्व, और 4 टाइगर रिजर्व हैं। यहाँ अभी तक एक भी कम्यूनिटी रिजर्व घोषित नहीं किया गया है, लेकिन इस संबंध में सरकार के प्रयास जारी हैं। यहाँ यह भी उल्लेखनीय है कि डेसर्ट नैशनल पार्क और सरिस्का नैशनल पार्क को राजस्थान सरकार कि अधिसूचना के अनुसार राष्ट्रीय उपवन घोषित किया गया है लेकिन वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि अधिसूचना के अनुसार ये अभयारण्य ही हैं जिनके नाम में नैशनल पार्क शब्द जोड़ा गया है, और राजस्थान में सिर्फ राष्ट्रीय उपवन ही हैं।

क्रम. सं.संरक्षित क्षेत्रसंख्याक्षेत्रफल (वर्ग किमी)कवरेज % (राज्य में)
1राष्ट्रीय उपवन3510.310.15
2वन्यजीव अभयारण्य269015.782.63
3कंजर्वेशन रिजर्व211155.970.38
4टाइगर रिजर्व44886.541.42
योग5415568.6*4.58

* योग, संरक्षित क्षेत्रों के एरिया के ओवरलैप को छोड़कर

भैंसरोडगढ़ अभयारण्य का एक दृश्य (फोटो: प्रवीण)

राजस्थान के संरक्षित क्षेत्रों की सूची (जुलाई, 2023) 
क्रमांकसंरक्षित क्षेत्र का नामज़िलाक्षेत्रफल

(वर्ग किमी)

अधिसूचना एवं दिनांक
Aटाइगर रिजर्व   
1रणथम्भौर टाइगर रिजर्वसवाई माधोपुर, करौली, बूंदी, टोंक1411.32F3(34)FOREST/2007 dated 28.12.2007 (CTH Notification) and F3(34)FOREST/2007 dated 06.07.2012 (Buffer Notification)
2सरिस्का टाइगर रिजर्वअलवर, जयपुर1213.34F3(34)FOREST/2007 dated 28.12.2007 (CTH Notification) and F3(34)FOREST/2007 dated 06.07.2012 (Buffer Notification)
3मुकुंदरा हिल्स टाइगर रिजर्वकोटा, बूंदी, झालावाड़, चित्तौड़गढ़759.99F3(8)FOREST/2012 dated 09.04.2013 (CTH Notification) and F3(8)FOREST/2012 dated 09.04.2013 (Buffer Notification)
4रामगढ़ विषधारी टाइगर रिजर्वकोटा, बूंदी1501.89F3(12)FOREST/2019 Dated 30.05.2022
टाइगर रिजर्व का कुल क्षेत्रफल 4886.54 
Bराष्ट्रीय उद्यान   
1रणथम्भौर राष्ट्रीय उद्यानसवाई माधोपुर282.03F11(26)Raj-8/88/Dated 01.11.1980
2केवलादेव राष्ट्रीय उद्यानभरतपुर28.73F3(5)(9)/8/72/Dated 27.08.1981
3मुकुंदरा हिल्स राष्ट्रीय उद्यानकोटा, चित्तौड़गढ़199.55F11(56)Van/2011/Part Dated 09.01.2012
राष्ट्रीय उद्यान का कुल क्षेत्रफल 510.31 
Cवन्यजीव अभयारण्य   
1सरिस्का अभयारण्यअलवर491.99F39(2)Forest/55/Dated 01.11.1955
2दर्रा अभयारण्यकोटा, झालावाड़227.64F39(2)Forest/55/ Dated 01.11.1955
Overlap with Mukundara Hills National Park.
Area based on MHTR notifications
3वन विहार अभयारण्यधौलपुर25.6F39(2)Forest/55/Dated 01.11.1955
4जयसमंद अभयारण्यउदयपुर52.34F39(2)Forest/55/ Dated 01.11.1955
5माउंट आबू अभयारण्यसिरोही326.1P.11(40)Van/97/ Dated 15.04.2008
6कुंभलगढ़ अभयारण्यराजसमंद, उदयपुर, पाली610.528F10(26)Revenue/A/71/ Dated 13.07.1971
7ताल छाप्पर अभयारण्यचूरू7.19F379/Revenue/8/59/ Dated 04.10.1962
8सीतामाता अभयारण्यउदयपुर, चित्तौड़गढ़422.94F11(9)Revenue/8/78/ Dated 02.01.1979
9राष्ट्रीय घड़ियाल अभयारण्यकोटा, बूंदी, सवाई माधोपुर, करोली, धौलपुर564.03F11(39)Revenue/8/78/ Dated 07.12.1979
Overlap with Mukundara Hills National Park
Area as per DGPS survey
10नाहरगढ़ अभयारण्यजयपुर52.4F11(39)Revenue/8/80 Dated 22.09.1980
11जमवा रामगढ़ अभयारण्यजयपुर300F11(12)Revenue/8/80/ Dated 31.05.1982
12जवाहर सागर अभयारण्यकोटा, बूंदी, चित्तौड़गढ़194.59951F11(5)13/Revenue/8/73/ Dated 09.10.1975 Overlap with Mukundara Hills National Park
Area based on MHTR notifications
13डेसर्ट नैशनल पार्क अभयारण्यजैसलमेर, बाड़मेर3162F3(1)73/Revenue/8/79/ Dated 04.08.1980
14रामगढ़ विषधारी अभयारण्यबूंदी303.05F11(1)/Revenue/8/79/ Dated 20.05.1982
After de-notification
15भेन्सरोडगढ़ अभयारण्यचित्तौड़गढ़201.4F11(44)/Revenue/8/81/ Dated 05.02.1983
16केलादेवी अभयारण्यकरोली, सवाई माधोपुर676.82F11(28)/Revenue/8/83/ Dated 19.07.1983
17शेरगढ़ अभयारण्यबारां81.67F11(35)/Revenue/8/83/ Dated 30.07.1983
18टॉडगढ़ रावली अभयारण्यराजसमंद, अजमेर, पाली495.27F11(56)/Revenue/8/82/ Dated 28.09.1983
19फुलवारी की नाल अभयारण्यउदयपुर511.41F11(1)/Revenue/8/83/ Dated 06.10.1983
20सवाई माधोपुर अभयारण्यसवाई माधोपुर131.3F/39/(2)For/55 dated 07.11.1955
Overlap with Ranthambhore National Park
21सवाईमान सिंह अभयारण्यसवाई माधोपुर113.07F11(28)/Revenue/8/84/ Dated 30.11.1984
22बाँध बरेठा अभयारण्यभरतपुर199.24F11(1)/Enviorment/ Dated 07.10.1985
23सज्जनगढ़ अभयारण्यउदयपुर5.19F11(64)/Revenue/8/86/ Dated 17.02.1987
24बस्सी अभयारण्यचित्तौड़गढ़138.69F11(41)/Revenue/8/86/ Dated 29.08.1988
25रामसागर अभयारण्यधौलपुर34.4F39(2)FOR/55/ Dated 07.11.1955
26केसरबाग अभयारण्यधौलपुर14.76F39(26)FOR/55/ Dated 07.11.1955
कुल अभयारण्य क्षेत्र 9015.78 
Dसंरक्षण रिजर्व   
1बीसलपुर संरक्षण रिजर्वटोंक48.31P.3(19)Van/2006/ Dated 13.10.2008
2जोडबीड गढ़वाला बीकानेर संरक्षण रिजर्वबीकानेर56.4662P.3(22)Van/2008/ Dated 25.11.2008
3सुंधामाता संरक्षण रिजर्वजालोर, सिरोही117.4892P.3(22)Van/2008/ Dated 25.11.2008
4गुढ़ा विश्नोईयन संरक्षण रिजर्वजोधपुर2.3187P.3(2)Van/2011/ Dated 15.12.2011
5शाकंभरी संरक्षण रिजर्वसीकर, जुंझुनू131P.3(16)Van/2009/ Dated 09.02.2012
6गोगेलाव संरक्षण रिजर्वनागौर3.58P.3(17)Van/2011/ Dated 09.03.2012
7बीड झुंजुनू संरक्षण रिजर्वजुंझुनू10.4748P.3(47)Van/2008/ Dated 09.03.2012
8रोटू संरक्षण रिजर्वनागौर0.7286P.3(8)Van/2011/ Dated 29.05.2012
9उम्मेदगंज पक्ष विहार संरक्षण रिजर्वकोटा2.7247F3(1) FOREST/ 2012 dated 5.11.2012
10जवाईबंध तेंदुआ संरक्षण रिजर्वपाली19.79F3(1) FOREST/ 2012 dated 27.02.2013
11बंसियाल खेतड़ी संरक्षण रिजर्वजुंझुनू70.1834F3(13) FOREST/ 2016 dated 01.03.2017
12बंसियाल – खेतड़ी बागोर संरक्षण रिजर्वजुंझुनू39.66F3(13) FOREST/ 2016 dated 10.04.2018
13जवाई बांध तेंदुआ संरक्षण रिजर्व-2पाली61.98F3(4) FOREST/ 2012 PT dated 15.06.2018
14मनसा माता संरक्षण रिजर्वझुंझुनू102.31F3(9) FOREST/ 2013 Jaipur dated 18.11.2019
15रंखार संरक्षण रिजर्वजालोर72.88PFN3(3)Forest/2022/Dated 23.05.2022
16शाहबाद संरक्षण रिजर्वबारा189.39PFN 4(12) Forest /2017 Date  24.01.2022
17शाहबाद तलाहती संरक्षण रिजर्वबारा178.84F4(12)FOREST/2017 Dated 01.09.2022
18बीड घास फुलियाखुर्द संरक्षण रिजर्वभीलवाड़ा0.8579F4(3)FOREST/2022 Dated 27.09.2022
19बाघदरा मगरमच्छ संरक्षण रिजर्वउदयपुर3.6871P.3(22)Van/2022
20वाडाखेड़ा संरक्षण रिजर्वसिरोही43.31P.3(20)Van/2022 Dated 27.12.2022
21झालाना–अमागढ़ संरक्षण रिजर्वजयपुर35.07169F3(23)FOREST/2022 Dated 27.02.2023
कुल संरक्षण आरक्षित क्षेत्र 1155.97 
Eप्रक्रियाधीन   
1सरिस्का (A) अभयारण्यअलवर3.01P1(24)Van/08/Dated 20.06.2012
2डेजर्ट नेशनल पार्कजैसलमेर, बाड़मेर3162
3सरिस्का राष्ट्रीय उद्यानअलवर
4कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यानराजसमंद
5बाँध बरेठा अभयारण्य (विस्तार)भरतपुर

Source: Wildlife (Planning) Wing, Department of Forests and Wildlife, Government of Rajasthan.

Cover Photo: Dr. Dharmendra Khandal

Original article updated on July 12, 2023